फिनोल संयंत्र के प्रक्रम संबंधी मानचित्र
फिनोल संयंत्र
फिनोल कॉम्प्लेक्स में निम्नलिखित इकाइयाँ हैं
• प्रोपलीन रिकवरी यूनिट
• कुमीन यूनिट
• फिनोल यूनिट
प्रत्येक यूनिट का संक्षिप्त प्रक्रम विवरण नीचे दिया गया है।
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प्रोपलीन रिकवरी यूनिट
संयंत्र का डिज़ाइन इंजीनियर्स इंडिया लिमिटेड द्वारा प्रोपलीन के दो ग्रेड के उत्पादन के लिए किया गया है। पहला कुमीन के उत्पादन के लिए उपयुक्त 75% शुद्धता वाले लीन प्रोपलीन और दूसरा 95% शुद्धता वाले केमिकल ग्रेड प्रोपलीन के उत्पादन के लिए है।
संयंत्र की क्षमता
• लीन प्रोपलीन (75% प्रोपलीन): 21840 टीपीए
• रासायनिक ग्रेड (95% प्रोपलीन): 7160 टीपीए
प्रक्रम प्रणाली में हाइड्रोकार्बन से एच2एस के रूप में सीओएस (कार्बोनिल सल्फाइड) को हटाने के लिए उप साधनों और उपकरण के साथ दो फ्रैक्शनेशन कॉलम शामिल हैं। पहला फ्रैक्शनेटर शीर्ष उत्पाद के रूप में 75% प्रोपलीन का उत्पादन करने वाले C3-C4 स्प्लिटर के रूप में कार्य करता है। दूसरा फ्रैक्शनेटर शीर्ष उत्पाद के रूप में 95% प्रोपलीन का उत्पादन करने वाले C3-C3 स्प्लिटर के रूप में कार्य करता है। C3-C4 स्प्लिटर से प्रोपलीन का उपचार कास्टिक / एमईए और सल्फर को हटाने के लिए पानी धोने की प्रणाली में किया जाता है।
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कुमीन यूनिट
यह यूनिट यूओपी की कैटेलिटिक कंडेनसेशन प्रक्रिया पर आधारित है। इस प्रसंस्करण तकनीक में सॉलिड फॉस्फोरिक एसिड (एसपीए) उत्प्रेरक का उपयोग उच्च शुद्धता वाले कुमीन (आइसोप्रोपिल बेंजीन) की प्राप्ति के लिए प्रोपलीन के साथ बेंजीन की क्षारीयता को बढ़ावा देने के लिए करता है ।
समग्र प्रक्रिया प्रवाह प्रणाली में अधिकतम उत्पाद गुणवत्ता और उपज के बीमा के लिए रियाक्शन क्षेत्र से पहले चुनिंदा अनुपात में प्रोपेन - प्रोपलीन मिश्रण के साथ बेंजीन का संयोजन होता है। इस मिश्रण को तब गर्म किया जाता है और रियाक्शन क्षेत्र में ले जाया जाता है, जहाँ सॉलिड फॉस्फोरिक एसिड उत्प्रेरक पर क्षारण होता है। रियाक्शन क्षेत्र का प्रवाह तब गैर-अभिकारकों की अस्वीकृति के लिए; अप्राप्य बेंजीन की पुनरावृत्ति और भारी क्षारित (एल्केलाइज्ड) उत्पाद से वांछित कुमीन उत्पाद के पृथक्करण के लिए फ्रैक्शनेशन कॉलमों की एक श्रृंखला से गुजरता है;
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फिनोल यूनिट
यह इकाई यूओपी (UOP) की कुमोक्स प्रक्रिया पर आधारित है, जो फिनोल और एसिटोन के आर्थिक और कुशल उत्पादन के लिए एक व्यावसायिक रूप से स्थापित कुमीन प्रति-ऑक्सीकरण प्रक्रिया है।
क्षमता
• फिनोल: 40,000 टीपीए
• एसीटोन: 24,640 टीपीए
कुमोक्स इकाई को निम्नलिखित प्रक्रिया खंड में विभाजित किया गया है।
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वाष्पीकरण खंड
इस खंड में, सीएचपी दो चरणों में लगभग 25-wt% से 80-wt% तक केंद्रित है।
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क्लीविज खंड
वाष्पीकरण खंड से संकेंद्रित सीएचपी को संकेंद्रित सल्फ्यूरिक एसिड उत्प्रेरक के साथ दो समानांतर क्लीविज रिएक्टर सर्किट में भरण किया जाता है। तापमान और अम्लता की नियंत्रित स्थिति के तहत, सीएचपी का क्लीविज फिनोल और एसिटोन और उपोत्पाद के लिए किया जाता है।
डायरेक्ट न्यूट्रलाइज़ेशन एंड एफ्लुएंट ट्रीटमेंट सेक्शन
यह खंड चार मुख्य कार्य करता है:
• क्लीविज खंड में उत्प्रेरक के रूप में उपयोग किए गए एसिड का न्यूट्रलाइज़ेशन ।
• न्यूट्रलाइज़ेशन के फलस्वरूप ऑर्गेनिक चरण से लवणों को धोना ।
• कई एफ्लुएंट धाराओं से फिनोल और एसीटोन की पुन:प्राप्ति।
• धाराओं से सोडियम फ़िनेट के रूप में पुनः प्राप्त किए गए फिनोल की स्प्रिंगिंग। ________________________________________
फ्रैक्शनेशन खंड
इस खंड में मुख्य रूप से फिनोल और एसिटोन को अलग करने और शुद्ध करने के लिए और कुमीन और अल्फामेथिलसाइटरिन (एएमएस) की पुन: प्राप्ति के लिए छह स्तंभ हैं।
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हाइड्रोजनीकरण खंड
अल्फ़ामेथिलस्टाइनिन (AMS) को कुमीन में वापस हाइड्रोजनीकृत किया जाता है। उत्प्रेरक के एक निश्चित बेड पर रियाक्शन किया जाता है।
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हाइड्रोजन पेरोक्साइड संयंत्र
यह संयंत्र यूएचडीई के एथिल एंथ्रेक्विन प्रक्रिया पर आधारित है। प्रभावी प्रतिक्रियाशील घटक 2-एथिल एंथ्राक्विनोन (2-ईएक्यू) को वर्किंग सोलूशन विलायक के मिश्रण में घुला कर दिया जाता है। यह पहले चरण में पैलेडियम उत्प्रेरक का उपयोग करके हाइड्रोजनीकरण द्वारा कम किया जाता है और आगे हाइड्रोजन पेरोक्साइड उत्पन्न करने और 2-ईएक्यू स्प्रिंग बैक के लिए ऑक्सीकरण किया जाता है।
सृजित हाइड्रोजन पेरोक्साइड को डिमिनरलाइज्ड पानी का उपयोग करके वर्किंग सोलूशन से निकाला जाता है। वर्किंग सोलूशन का पुन:चक्रण करके हाइड्रोजनेटर में वापस किया जाता है और ऊपर वर्णित रियाक्शन बार-बार किया जाता है ।
कमजोर हाइड्रोजन पेरोक्साइड (35% सांद्रता) को आवश्यकता के अनुसार 50% या 70% तक उसकी सांद्रता बढ़ाने के लिए वैक्यूम डिस्टिलेशन के अधीन किया जाता है।
हाइड्रोजनीकरण से पहले वर्किंग सोलूशन का एक छोटा सा हिस्सा रिएक्ट किए गए उत्पादों के संचय को हटाने या नियंत्रित करने के लिए रासायनिक उपचार के अधीन है।
हाइड्रोजन पेरोक्साइड संयंत्र के लिए प्रक्रम प्रवाह डियाग्राम चित्र-2 के रूप में संलग्न है
एच2ओ2 संयंत्र प्रक्रम ब्लॉक डियाग्रम
यूटिलिटी खंड
फिनोल और हाइड्रोजन पेरोक्साइड संयंत्रों को इन सेवा प्रणालियों के साथ प्रदान किया जाता है।
- भाप प्रणाली
- कूलिंग जल प्रणाली
- सामान्य उपयोगिता प्रणाली (नाइट्रोजन, बिजली, प्रक्रम पानी आदि)
- हाइड्रोजन प्लांट 1एवं 2
- बिजली के लिए कैप्टिव पावर प्लांट
- टैंक प्रणाली
- फिनोल संयंत्र के लिए प्रशीतित पानी
- फिनोल संयंत्र के लिए टेम्पर्ड कूलिंग पानी
- फिनोल संयंत्र के लिए गर्म तेल प्रणाली
एफ्लुएंट ट्रीटमेंट प्लांट
विभिन्न संयंत्रों से एफ्लुएंट को इक्वलाईसेशन टैंकों में एकत्र किया जाता है। संयुक्त प्रवाह को तब भौतिक, रासायनिक और जैविक विधियों द्वारा उपचारित किया जाता है।
केरल राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा निर्दिष्ट मानदंडों के अनुरूप उपचारित एफ्लुएंट को केवल फैक्टरी से बाहर जाने दिया जाता है।
एफ्लुएंट उपचार संयंत्र ब्लॉक डियाग्रम
कच्ची सामग्रियाँ
- बेंजीन
- द्र्विकृत पेट्रिलियम गॅस (एलपीजी)
प्रक्रमण नियंत्रण प्रणाली
संयंत्र को डीसीएस प्रणाली है ( वितरित नियंत्रण प्रणाली)
- ची इकाई में नवीनतम सुविधायुक्त श्रेणी की वितरित नियंत्रण प्रणाली से संयंत्र का प्रचालन किया जाता है, जहाँ डेटा अधिग्रहण और नियंत्रण संयंत्र पर कार्यात्मक और भौगोलिक रूप से वितरित कई माइक्रो प्रोसेसर आधारित नियंत्रण इकाइयों के माध्यम से किया जाता है। हमारे पास फिनोल, हाइड्रोजन पेरोक्साइड और बॉयलर संचालन के लिए तीन स्वतंत्र नियंत्रण कक्षाएं और डीसीएस प्रणाली हैं।
• डीसीएस के अलावा, विशेष रूप से संयंत्र की सुरक्षा के लिए स्वतंत्र पीएलसी और रिले आधारित इंटरलॉक सिस्टम को शामिल किया गया है।
• टैंक स्तर की निगरानी प्रणाली "एलएमएस" कच्चे माल, तैयार उत्पादों और मध्यवर्ती उत्पादों के भंडार का विस्तृत विवरण, साथ ही साथ विभिन्न अलार्म, चेतावनी और टैंक संचालन के इतिहास आदि प्रदान करती है।
• फिनोल और हाइड्रोजन पेरोक्साइड का स्वचालित ड्रम भरना सटीक वजन और सुरक्षित संचालन देता है।
• फिनोल, एसिटोन और हाइड्रोजन पेरोक्साइड की लोडिंग के लिए कम्प्यूटरीकृत स्वचालित ट्रक लोडिंग सिस्टम शामिल किया गया है।
• संयंत्र के विभिन्न स्थानों पर हाइड्रोकार्बन गैस डिटेक्टर प्रदान किए जाते हैं और किसी प्रकार के हाइड्रोकार्बन रिसाव का पता लगाने के लिए केंद्रीय रूप से निगरानी की जाती है।
एलपीजी स्टोरेज के सुरक्षित संचालन के लिए एलपीजी स्टोरेज क्षेत्र में स्वचालित स्प्रिंकलर प्रणाली प्रदान की जाती है।
- अंतिम एफ्लुएंट के बीओडी / सीओडी / टीएसएस और पीएच का ऑन लाइन एनालाइजर का उपयोग करते हुए लगातार निगरानी किया जाता है और डेटा सीपीसीबी को भेजा जाता है।
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